
पश्चिमांचल को अलग राज्य का दर्जा दिलाने की मांग को लेकर हिन्द आर्मी ने जारी की नई पुस्तक ‘म्हारा पश्चिमांचल!
कांधला कॉलेज में हुआ पुस्तक विमोचन, उत्तर प्रदेश सरकार पर भेदभाव का आरोप: 78 साल बाद भी पश्चिमांचल को क्यों नहीं मिले पर्याप्त संस्थान और न्याय?
कांधला (शामली), उत्तर प्रदेश। दिल्ली-सहारनपुर हाईवे स्थित कांधला कॉलेज में हिन्द आर्मी संगठन द्वारा पश्चिमांचल के संघर्ष और भेदभाव पर आधारित पहली पुस्तक “म्हारा पश्चिमांचल (दिल्ली व लखनऊ से संघर्ष)” का विमोचन किया गया। इस अवसर पर आयोजित प्रेस वार्ता में संगठन ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश को अलग राज्य बनाने की मांग को फिर से तेज करते हुए प्रदेश सरकार पर शिक्षा, स्वास्थ्य, न्याय और संस्कृति के क्षेत्र में भेदभाव का आरोप लगाया।
पुस्तक का उद्देश्य
हिन्द आर्मी के संस्थापक नितिन कुमार (नितिन स्वामी) ने बताया कि यह पुस्तक उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा पश्चिमांचल के साथ किए गए ऐतिहासिक भेदभाव को उजागर करती है। उन्होंने कहा कि आजादी के 78 साल बाद भी पश्चिमांचल को न तो उचित शैक्षणिक संस्थान मिले, न ही स्वास्थ्य सुविधाएं, और न ही न्याय प्रणाली में पारदर्शिता। यहां की भाषा और संस्कृति को सरकारों ने हमेशा नजरअंदाज किया।
अलग राज्य की मांग पर ज़ोर!
नितिन स्वामी ने कहा कि छोटे राज्य तेजी से विकास करते हैं, लेकिन पश्चिमांचल को उत्तर प्रदेश में ही “दंगों और युवाओं पर मुकदमों” की विरासत मिली। उन्होंने सवाल उठाए कि हमें कितने केंद्रीय विश्वविद्यालय मिले? कितने खेल स्टेडियम? हमारी बोली को पाठ्यक्रम में क्यों नहीं जगह मिली? क्यों अब तक पश्चिमांचल में हाईकोर्ट बेंच नहीं बनी?
प्रशासनिक उपेक्षा का दावा:
संगठन ने आरोप लगाया कि पश्चिमांचल के साथ राजनीतिक और प्रशासनिक हिस्सेदारी भी नहीं की गई। बड़े सरकारी कार्यालय यहां से दूर हैं, और अधिवक्ता 50 साल से हाईकोर्ट बेंच की मांग कर रहे हैं। पुस्तक में दावा किया गया है कि लखनऊ और दिल्ली केंद्रित नीतियों ने इस क्षेत्र के विकास को अवरुद्ध किया है।
सांस्कृतिक पहचान का संकट:
हिन्द आर्मी ने जोर देकर कहा कि पश्चिमांचल की ब्रज और खड़ी बोली जैसी सांस्कृतिक विरासत को सरकारी स्तर पर कभी महत्व नहीं दिया गया। नितिन स्वामी ने कहा कि संस्कृति के पतन से हमारी पहचान खतरे में है। अलग राज्य ही एकमात्र समाधान है।
कार्यक्रम में उपस्थित लोग:
इस मौके पर संगठन के सचिव पवन शर्मा, जिलाध्यक्ष मनीष शर्मा, कुलदीप चौहान, सविता लोचन, नरेंद्र हेकडे, अली मुखिया, रोहन भारती और मोहित कुमार मौजूद रहे। संगठन ने घोषणा की कि वह पश्चिमांचल के अलग राज्य के लिए जनता और सरकार से सीधा संवाद बढ़ाएगा।
“म्हारा पश्चिमांचल” पुस्तक पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जनआंदोलन को एक नई दिशा देने का प्रयास है। हिन्द आर्मी का यह कदम राज्य के विभाजन की मांग को लेकर चल रही बहस को फिर से गर्मा सकता है।