नई दिल्ली

यमुना का जलस्तर बढ़ने से दिल्ली में बाढ़ के हालात, निचले क्षेत्र में घरों को ख़ाली करने की केजरीवाल ने की अपील

यमुना का जलस्तर बढ़ने से दिल्ली में बाढ़ के हालात, निचले क्षेत्र में घरों को ख़ाली करने की केजरीवाल ने की अपील

नयी दिल्ली। 12 जुलाई।  दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि हरियाणा के हथिनी कुंड से भारी मात्रा में पानी छोड़े जाने से दिल्ली में बाढ़ के हालात बन गए हैं।
श्री केजरीवाल ने यमुना में बढ़े जलस्तर के मद्देनज़र अधिकारियों के साथ आपात बैठक के बाद पत्रकारों से बुधवार को कहा कि यमुना में जलस्तर बढ़ता जा रहा है और दिल्ली में बाढ़ की स्थिति बनी हुई है। दिल्ली में यमुना का खतरनाक स्तर 205.33 मीटर है जबकि इस वक्त दिल्ली में यमुना का जल स्तर खतरे के निशान को पार करके 207.71 मीटर पर पहुंच गया है। इससे पहले 1978 में यमुना का अधिकतम जल स्तर 207.49 मीटर पहुंचा था, उस समय दिल्ली में बाढ़ आई थी। दिल्ली का 40 साल पुराना रिकॉर्ड टूट गया है और यमुना का जल स्तर इससे भी आगे पहुंच चुका है। सेंट्रल वॉटर कमिनशन ने बुधवार दोपहर को एक अनुमान बताया था। इसके मुताबिक बुधवार रात 10-12 बजे के बीच यमुना का जल स्तर 207.72 मीटर तक पहुंचना था। मगर 207.72 मीटर के करीब यमुना का जलस्तर दोपहर में ही पहुंच चुका है।
उन्होंने कहा कि दिल्ली में पिछले दो-तीन दिन से बारिश नहीं हो रही है। यमुना में अभी जितना भी पानी आ रहा है, वह हिमाचल प्रदेश और हरियाणा से होते हुए दिल्ली में पहुंच रहा है। हरियाणा में स्थित हथिनी कुंड बैराज को खोलने से यह सारा पानी आता है। हमें हथिनी कुंड बैराज की स्थिति की ज्यादा जानकारी नहीं है इसलिए गृहमंत्री अमित शाह को आज पत्र लिखकर हथिनी कुंड में पानी छोड़े जाने की गति को थोड़ा कम करवाने का आग्रह किया है।
श्री केजरीवाल ने कहा कि श्री शाह को चिट्ठी लिखने के कुछ देर बाद उनके पास केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत का फोन आया था। उन्होंने बताया कि हथिनी कुंड सिर्फ बैराज है और उसके पीछे कोई रिजर्वायर नहीं है। वहां पानी को रोकने की कोई सुविधा नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि अब हिमाचल प्रदेश से आने वाला पानी कम होने लगा है और आने वाले एक-दो दिन में स्थिति में सुधार आ जाएगा मगर मंगलवार को काफी पानी छोड़ा गया था। उस पानी को दिल्ली पहुंचने में अभी 24 घंटे लगेंगे। ऐसे में हमें यमुना के जल स्तर की 207.71 मीटर से और बढ़ने की उम्मीद है।
उन्होंने बतया कि अब हमारी कोशिश है कि हम किस तरह से लोगों की जान-माल की रक्षा कर सकते हैं। दिल्ली के सभी लोगों से हाथ जोड़कर विनती है कि जितने भी लोग यमुना के निचले क्षेत्र में रहते हैं, वह अपने घर को खाली कर दें और इंतजार न करें। अचानक पानी आने से जान को खतरा हो सकता है और सामान को नुकसान पहुंच सकता है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि दिल्ली के ऐसे क्षेत्र जो पहले से ही प्रभावित हैं और वहां पानी पहुंच चुका है। इसमें बोट क्लब, मोनेस्ट्री मार्केट, पुराने रेलवे ब्रिज के पास नीली छत्री मंदिर, यमुना बाजार, गीता घाट, नीम करोली गौशाला, विश्वकर्मा और खड्डा कॉलोनी, गढ़ी मांडू, मजनू का टीला से वजीराबाद तक का क्षेत्र शामिल है।

श्री केजरीवाल कहा कि दिल्ली के निचले क्षेत्र उस्मानपुर, बदरपुर खादर में यमुना के पास वाले इलाकों में लोग अपने घरों को खाली कर दें। इसके अलावा डीएनडी, मयूर विहार, जगतपुर में मेन पुश्ता रोड, सराय काले खां पर भेलोपुर, श्मशान घाट, जैन मंदिर, ग्यासपुर और मिलेनियम डिपो के आस-पास बसी झुग्गियों को खाली कर दें।
उन्होंने कहा कि यह भी देखने में आ रहा है कि कई लोग बाढ़ देखने जा रहे हैं और वहां जाकर सेल्फी व वीडियो ले रहे हैं। इस स्थिति में लोग वहां न जाएं। अगर अचानक जल स्तर बढ़ गया तो आपकी जान को खतरा हो सकता है। सरकार की ओर से राहत व बचाव के लिए बेहद पुख्ता इंतजाम किए हुए हैं। आप मकान खाली कराने के लिए सरकार की मदद ले सकते हैं। यदि आप स्वयं से किसी दूसरी जगह पर जाना चाहते हैं तो खुद भी जा सकते है। सरकार ने दिल्ली में बहुत सारे राहत कैंप लगाए हैं, उन्हें और भी बढ़ाने की उम्मीद है। जिलाधिकारियों को कहा गया है कि जरूरत पड़ने पर आस-पास के स्कूलों को बंद कर उन्हें राहत कैंप में तब्दील कर सकते हैं।
श्री केजरीवाल ने कहा कि अभी रिहायशी इलाकों में यमुना का पानी पहुंचने की संभावना नहीं है। अभी सिर्फ यमुना के नीचले इलाकों में ही पानी आने का खतरा नजर आ रहा है। अगर लगता है कि कहीं और भी लोगों से घर खाली कराने की जरूरत है, तो उसकी सूचना समय से पूर्व दी जाएगी। स्थानीय स्तर पर भी हमारी टीमें मुनादी करके लोगों को सचेत कर रही हैं। उन्होंने कहा कि यमुना का जलस्तर बढ़ने से कुछ नाले बैक मार सकते हैं। इसकी वजह से कुछ इलाकों में जल भराव हो सकता है। दिल्ली के छह जिलों में करीब 2.5 हजार टैंट लगाए गए हैं। कैंप में सभी बुनियादी सुविधाओं की व्यवस्था की गई है। एनडीआरएफ की भी मदद ली जा रही है। केंद्र सरकार से लगातार संपर्क किया जा रहा है और हमारे अधिकारी भी केंद्र सरकार के अधिकारियों के संपर्क में है।
राजस्व मंत्री आतिशी ने बताया कि दिल्ली सरकार ने बाढ़ ग्रस्त इलाकों में लोगों को तत्काल राहत पहुंचाने के लिए 50 बोट का इंतजाम किया है। इन सभी बोट्स को पल्ला से लेकर ओखला बैराज तक दो-दो किलोमीटर की दूरी पर तैनात किया गया है।

अरशद चौधरी
मुख्य सम्पादक - विजिलेंस मीडिया ग्रुप

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